महाकुंभ: मौनी अमावस्या पर 10 करोड़ भक्तों का उमड़ना, सीएम योगी की तैयारी
महाकुंभ में मौनी अमावस्या पर 10 करोड़ श्रद्धालुओं की उम्मीद, सीएम योगी ने दिए तीन महत्वपूर्ण निर्देश।
महाकुंभ का पर्व हर 12 साल में बड़े धूमधाम से मनाया जाता है। इस बार, मौनी अमावस्या के अवसर पर उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में 10 करोड़ श्रद्धालुओं के आने की संभावना जताई जा रही है। यह एक ऐसा दिन होता है जब लोग पूजा और स्नान के लिए संगम की ओर बढ़ते हैं। सीएम योगी आदित्यनाथ ने इस ऐतिहासिक मौके को सफल बनाने के लिए खास निर्देश दिए हैं।
सीएम योगी ने कहा कि प्रशासन को चाहिए कि त्यौहार के दौरान सभी व्यवस्थाएं सही तरीके से की जाएं। इसके अंतर्गत सुरक्षा, सफाई, स्वास्थ्य सेवाएं और यातायात प्रबंधन शामिल हैं। उन्होंने कहा कि श्रद्धालुओं को कोई भी दिक्कत नहीं होनी चाहिए, इसलिए हर एक पहलू पर ध्यान दिया जाए।
महाकुंभ सांस्कृतिक और धार्मिक महत्त्व का पर्व है जहाँ लोग पवित्र संगम में स्नान करके अपने पापों का प्राश्चित करते हैं। मौनी अमावस्या का दिन खास है, क्योंकि इस दिन लोग मौन रहकर विशेष ध्यान व साधना करते हैं। इस दिन को लेकर श्रद्धालुओं में खास उत्साह है और उन्हें अपने घरों से निकलने की तैयारी कर ली है।
प्रयागराज प्रशासन ने भी इस महाकुंभ को सफल बनाने के लिए विशेष योजनाएं बनाई हैं। पुलिस और सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है ताकि तात्कालिक समस्याओं का समाधान त्वरित रूप से किया जा सके। स्वास्थ्य सेवाओं का खास ध्यान रखा जाएगा ताकि किसी भी आपात स्थिति से निपटा जा सके। इसके अलावा, पार्किंग, परिवहन और यातायात के लिए भी पहले से उपाय किए जा रहे हैं।
इस मौके पर साधु-संतों का भी आना असरदार रहेगा। उनके दर्शन के लिए भी श्रद्धालुओं में भारी भीड़ उमड़ेगी। इस अवसर पर सीएम योगी ने सभी श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे अपने-अपने घरों से समय पर निकले ताकि उन्हें किसी भी प्रकार की धनात्मकता का अनुभव हो सके।
महाकुंभ की महत्ता केवल धार्मिक ही नहीं, बल्कि यह सामाजिक एकता का प्रतीक भी है। लाखों लोग एक साथ आकर अपने धर्म का पालन करते हैं और समाज में भाईचारे का संदेश फैलाते हैं।
इस बार के महाकुंभ में प्रशासन का प्रयास रहेगा कि किसी प्रकार की अनहोनी न हो और हर श्रद्धालु अपने अनुभव को सुरक्षित और सुखद बना सके। इस प्रकार, महाकुंभ में मौनी अमावस्या का आयोजन न केवल एक धार्मिक उत्सव है, बल्कि यह एक अद्वितीय सांस्कृतिक समागम भी है।