कुल्लू-मनाली में बारिश का कहर, इमारतें और पुल बह गए
कुल्लू-मनाली में भारी बारिश से आई बाढ़ ने तबाही मचाई, कई इमारतें और पुल नदी में समा गए। जानें कुछ खास बातें इस प्राकृतिक आपदा के बारे में।
हाल ही में कुल्लू-मनाली क्षेत्र में भारी बारिश ने तबाही मचाई है। बारिश का रौद्र रूप देखने को मिला है, जिससे ब्यास नदी में बाढ़ आ गई है। इससे क्षेत्र के कई इमारतें और दुकानें बह गईं। ब्यास नदी का जलस्तर बढ़ने से कई सड़कें भी बाधित हो गई हैं, जिससे यात्रा करना मुश्किल हो गया है।
स्थानीय लोगों ने बताया कि यह बारिश पिछले कई दिनों से जारी थी, लेकिन कल रात हुई जोरदार बारिश ने स्थिति को और भी गंभीर बना दिया। रिपोर्ट्स के मुताबिक, कुल्लू-मनाली सहित प्रदेश के कई हिस्सों में मौसम विभाग ने ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। लोग अभी भी सुरक्षित स्थानों पर जा रहे हैं।
कुल्लू और मनाली में बाढ़ के कारण कई पुल और फुट ब्रिज भी बह गए हैं, जिसके चलते यात्रा करने वाले पर्यटकों और स्थानीय लोगों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। स्थानीय प्रशासन ने राहत और बचाव काम शुरू कर दिया है, लेकिन बाढ़ और बारिश के चलते हालात बेहद गंभीर हैं।
अत्यधिक बारिश के चलते स्कूल और कॉलेज भी बंद कर दिए गए हैं। स्थानीय निवासियों से अपील की गई है कि वे बिना जरूरत घर से बाहर न निकलें। राहत कार्यों के लिए SDRF और अन्य एजेंसियों को तैनात किया गया है।
साथ ही, पर्यटन क्षेत्र पर भी इसका बुरा असर पड़ा है। मनाली में छुट्टियां मनाने आए पर्यटक फंस गए हैं और उन्हें सुरक्षित स्थानों तक पहुंचाने के प्रयास जारी हैं। प्रशासन ने सभी पर्यटकों से अपील की है कि वे हल्की बारिश में भी सतर्क रहें।
बाढ़ की वजह से बिजली और संचार सेवाओं में भी बाधा आई है। प्रशासन ने लोगों को सुरक्षित स्थानों पर जाने की सलाह दी है और यात्रा करने से बचने का आग्रह किया है।
इस संकट के समय में स्थानीय लोगों का साहस और एकजुटता अपने आप में प्रेरणादायक है। कई स्वयंसेवी संगठन भी आगे आकर राहत कार्यों में मदद कर रहे हैं। यह प्राकृतिक आपदा हमें प्रबंधन और तैयारी की अहमियत बताती है।