अमृतसर में ग्रेनेड अटैक: बब्बर खालसा का आतंक
अमृतसर में बीते दिन एक भयानक ग्रेनेड अटैक ने पूरे इलाके में दहशत फैला दी। घटना उस समय हुई जब पुलिस चौकी पर बब्बर खालसा के आतंकियों ने एक ग्रेनेड फेंका, जिससे कई लोग घायल हुए। शुरुआती रिपोर्ट के अनुसार, अटैक का टारगेट एक पुलिस वाहन था, जिससे यह साफ है कि यह एक सुनियोजित हमला था।
इस हमले की जिम्मेदारी बब्बर खालसा ने एक सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए ली, जिसमें उन्होंने अपने संगठन की ताकत का प्रदर्शन किया। ये संगठन पूर्व में भी कई बार सुरक्षा बलों पर हमले कर चुका है। इस बार का अटैक न केवल सुरक्षा में खामियों को उजागर करता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि आतंकवादी संगठन अभी भी सक्रिय हैं और अपने मंसूबों को अंजाम देने के लिए किसी भी तरह की हिंसा को अंजाम दे सकते हैं।
स्थानीय पुलिस ने घटना स्थल पर पहुंचकर घायलों को तुरंत अस्पताल पहुँचाया। पुलिस ने इलाके को सील कर दिया और हमलावरों की पहचान के लिए छापेमारी शुरू कर दी है।
अधिकारियों का कहना है कि इस तरह के हमले पुलिस के मनोबल को तोड़ने के लिए किए जाते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि इस तरह की घटना सुरक्षा एजेंसियों के लिए एक बड़ा चेतावनी संकेत है। देश की सुरक्षा के साथ खिलवाड़ करना आतंकियों की पुरानी रणनीति रही है।
स्थानीय नागरिकों में भय और दहशत का माहौल है। लोग अपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं। कुछ नागरिकों ने सरकार से मांग की है कि सरकार को इस समस्या के समाधान के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए।
विशेषज्ञों का कहना है कि ऐसे अटैक आमतौर पर आतंकियों की desperation और अपनी गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए किए जाते हैं। इसे रोकने के लिए सुरक्षा बलों को एकजुट होकर काम करने की आवश्यकता है।
इस हमले के बाद पुलिस ने सुरक्षा कड़ी कर दी है और सभी चौकियों पर चेकिंग बढ़ा दी गई है। लोग अब अधिक सतर्क रहने लगे हैं और सुरक्षा बलों से सहयोग कर रहे हैं। सभी का यही एकसाथ होना ही हमें ऐसे खतरों से बचाने का सबसे बड़ा हथियार है।
चुनावों के नजदीक आते ही ऐसे हमले और भी बढ़ने की आशंका जताई जा रही है। ऐसे में सभी नागरिकों को जागरूक रहना होगा और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत संबंधित अधिकारियों को देनी होगी।